- Mohd Zubair Qadri
यूपी में नए बिजली टैरिफ की दरें घोषित, सात रुपये प्रति यूनिट का स्लैब समाप्त

यूपी। प्रदेश सरकार बिजली उपभोक्ताओं को बड़ी राहत देते हुए वर्ष 2022-23 के लिए जारी बिजली की नई दरों में कोई बढ़ोत्तरी नहीं किया है। यानि लगातार तीसरे वर्ष भी बिजली दरें यथावत ही रहेंगी। उप्र विद्युत नियामक आयोग ने बिजली दर की नई टैरिफ जारी कर दिया है। इससे पहले 3 सिंतबर 2019 में बिजली दर बढ़ी थी। नई बिजली दर में घरेलू उपभोक्ताओं के अधिकतम 7 रुपये प्रति यूनिट के स्लैब को समाप्त कर दिया गया है। यानि अब घरेलू विद्युत उपभोक्ताओं (शहरी) की अधिकतम बिजली दर 6.50 रुपये प्रति यूनिट और ग्रामीण क्षेत्र में 5.50 रुपये प्रति यूनिट ही होगी। इसके अलावा नोएडा पावर कंपनी क्षेत्र के विद्युत उपभोक्ताओं को भी बड़ी राहत देते हुए बिजली दरों में 10 प्रतिशत की कमी की गई है। सरकार के इस फैसले से 500 यूनिट तक बिजली का उपभोग करने वाले उपभोक्ताओं यानि मध्यम वर्ग के शहरी और ग्रामीण उपभोक्ताओं को बड़ी राहत मिलेगी।
उप्र नियामक आयोग मुख्यालय में शनिवार को आयोग के चेयरमैन आरपी सिंह व सदस्य द्वय कौशल किशोर शर्मा और बीके श्रीवास्तव ने बिजली की नई दरें (टैरिफ) जारी की। नई टैरिफ में अब 500 यूनिट से अधिक बिजली का उपभोग करने वाले उभोक्ताओं को अब 6.50 रुपये प्रति यूनिट के दर से ही भुगतान करना पड़ेगा। पहले यह दर 7 रुपये प्रति यूनिट थी। नियामक आयोग द्वारा जारी नये टैरिफ में घरेलू उपभोक्ताओं के स्लैब में सबसे अधिक कमी की गई है। प्रदेश में पहले बिजली के दर की स्लैब 80 थीं, जिसे घटाकर 59 कर दिया गया है। इससे घरेलू उपभोक्ताओं से साथ व्यावसायिक उपयोग करने वालों को भी काफी राहत मिलेगी। वहीं, ज्यादा बिजली खर्च करने वाले शहरी घरेलू उपभोक्ताओं को भी राहत मिलेगी। इसी प्रकार शहरी घरेलू बीपीएल उपभोक्ताओं को भी 100 यूनिट बिजली उपभोग करने पर 3 रुपये प्रति यूनिट की दर से ही बिजली दर का भुगतान करना होगा।
नई टैरिफ में आयोग ने प्रदेश के 1 करोड़ 20 लाख गरीब उपभोक्ताओं को बड़ी राहत देते हुए बीपीएल उपभोक्ताओं के लिए 3.50 रुपये प्रति यूनिट की सब्सिडी घोषित की गई है। प्रदेश में पहली बार ग्रामीण उपभोक्ताओं के लिए 6 रुपये प्रति यूनिट व शहरी उपभोक्ताओं के लिए 7 रुपये प्रति यूनिट को खत्म कर दिया गया है। नियामक आयोग ने भारत सरकार की गाइडलाइन के तहत स्लैब को सरल करते हुए वर्तमान में लागू 80 स्लैब को घटाकर 59 स्लैब कर दिया है आयोग द्वारा वर्ष 2022-23 के लिए बिजली कंपनियों की तरफ से दाखिल 84504.81 करोड के वार्षिक राजस्व आवश्यकता को न मानते हुए सिर्फ 78075.80 करोड के वार्षिक राजस्व आवश्यकता अनुमोदित किया गया है।
बिजली कंपनियों द्वारा दिखाए गए 126.52 विलियन यूनिट की खरीद को न मानते हुए आयोग ने सिर्फ 121.47 बिलयन यूनिट की खरीद को ही अनुमोदित किया गया है। इसी प्रकार बिजली कंपनियों द्वारा दाखिल 17.05 प्रतिशत बिजली हानि के प्रस्ताव को भी खारिज करते हुए आयोग ने सिर्फ 10.67 प्रतिशत बिजली हानि को ही अनुमोदित किया है। आयोग द्वारा 13600 करोड सब्सिडी को मानकर स्लैब वाइज टैरिफ का निर्धारण किया गया है। उससे बिजली कंपनियों को लगभग 80046.63 करोड राजस्व प्राप्त होगा। यानी 1970 करोड़ का अधिक राजस्व प्राप्त होगा। नई टैरिफ में आयोग ने नोएडा पावर कंपनी के विद्युत उपभोक्ताओं को भी बड़ी राहत देते हुए बिजली दरों में 10 प्रतिशत की कमी कर दिया है। आयोग के फैसले के मुताबिक उपभोक्ताओं का यदि बिजली कंपनियों पर सर प्लस निकलने पर लगने वाले रेगुलेटरी सरचार्ज के आधार पर अब रेगुलेटर लाभ भी मिलेगा।
आयोग ने यह भी कहा है कि विद्युत उपभोक्ताओं का बिजली कंपनियों पर निकल रहे 25133 करोड रुपए सरप्लस धनराशि को आगे टैरिफ में समायोजित करने की मांग पर विचार किया जाएगा। इसके अलावा आयोग ने बिजली कंपनियों द्वारा स्मार्ट मीटर पर होने वाले खर्च की मांग को नामंजूर करते हुए इस खर्च को खुद कंपनियों को
ही वहन करने को कहा है। साथ ही आयोग ने बिजली कार्मिकों के घरों पर भी तत्काल मीटर लगाने का आदेश दिया है। कृषि उपभोक्ताओं को छोडकर विद्युत नियामक आयोग ने इस बार ग्रीन एनर्जी टैरिफ 54 पैसे प्रति यूनिट निर्धारित किया है।
वाणिज्यिक दर इस प्रकार होगा
वर्तमान दर नई दर
300 यूनिट तक 7.50 रुपये प्रति यूनिट , 300 यूनिट तक 7.50 (4 केवी तक फिक्स चार्ज 330 रुपये )
301 से 1000 तक 8.40 रुपये प्रति यूनिट 301 से अधिक 8.40 (4 केवी तक फिक्स चार्ज 330 रुपये
1000 से अधिक 8.75 रुपये प्रति यूनिट 1000 तक 7.50 (4 केवी से ऊपर 450 रुपये फिक्स चार्ज)
1000 से अधिक 8.75 प्रति यूनिट (4केवी से ऊपर 450 रुपये फिक्स चार्ज)
फिक्स चार्ज 2 केवी तक 330 रुपये प्रति केवी
2 से 4 केवी तक 390 रुपये प्रति यूनिट
4 से अधिक 450 रुपये प्रति यूनिट
2 से 4 केवी केबीच का फिक्स चार्ज समाप्त वाणिज्यिक उपभोक्ताओं के मामले में 2 केवी से 4 केवी के बीच का फिक्स चार्ज (390 रुपया प्रति केवी प्रतिमाह) को समाप्त कर दिया गया है। अब 4 केवी के उपभोक्ता को प्रति किलोवाट 60 रुपये का फायदा होगा। ऐसे में 2 केवी पर 120 फायदा होगा। इसी प्रकार सरकार की मंशा को देखते हुए प्रदेश के किसानों की दरों की यथावत रखा गया है। चूंकि सरकार 1 जनवरी 2022 से वर्तमान दर में 50 प्रतिशत की छूट दे रही है, वहीं आगे भी जारी रहेगी। उप्र विद्युत उपभोक्ता परिषद के अध्यक्ष अवधेश कुमार वर्मा ने आयोग द्वारा जारी नये बिजली दर में बढ़ोत्तरी नहीं किए जाने पर मुख्यमंत्री और आयोग के अध्यक्ष व सदस्यों के प्रति आभार जताया है। उपभोक्ता परिषद के अध्यक्ष ने कहा बिजली दर में वद्धि के खिलाफ परिषद पिछले तीन साल से लड़ाई लड़ रहा था। इसका ही परिणाम है कि लगातार तीसरे साल बिजली दरों में वृद्धि नहीं की गई है। उन्होंने कहा कि जल्द ही वह मुख्यमंत्री से मिलकर बिजली दरों को कम करने के बारे में उपभोक्ताओं का पक्ष रखेगा।
विद्युत आपूर्ति लागत में भी कटौती बिजली कंपनियों ने जहां औसत विद्युत आपुर्ति की लागत 8.43 रुपये प्रति यूनिट मांगा था, वहीं नियामक आयोग में इसमें कटौती करते हुए 7.53 रुपये प्रति यूनिही ही अनुमोदित किया है। बिजली कंपनियों ने जहां छह हजार 700 करोड़ गैप दिखाया था, वहीं अब बिजली कंपनियों के ऊपर उपभोक्ताओं का ही 3088 करोड़ रुपये सरप्लस निकल आया है। नोएडा पावर कंपनी की दर में 10 प्रतिशत की कमी नोएडा पावर कंपनी के मामले में विद्युत नियामक आयोग ने गठन के बाद पहली बार बिजली दरों में 10 प्रतिशत कमी की है, क्योंकि नोएडा बिजली कंपनी का एवरेज बिलिंग रेट अधिक थी और औसत विद्युत लागत कम थी। सिर्फ 2021-22 तक 1176 करोड़ सरप्लस कमाया था। जिसके आधार पर आयोग ने उपभोक्ता परिषद की मांग पर दरों में कमी की है।
आयोग ने खुद का बनाया नया स्लैब विद्युत नियामक आयोग ने जहां पावर कारपोरेशन के स्लैब में परिवर्तन को खारिज करते हुए स्वत: अपना एक स्लैब परिवर्तन बनाया है। जिसमें किसी भी उपभोक्ता को नुकसान नहीं होगा। आयोग ने 80 स्लैब को घटकार 59 कर दिया, लेकिन किसानों और अस्थाई कनेक्शन, इलेक्ट्रिकल व्हीकल, उद्योग, सिंचाई और ग्राम पंचायत के स्लैब में कोई भी बदलाव नहीं किया गया है, जबकि और सभी श्रेणी में स्लैब में सरलीकरण किया गया है, लेकिन इस बात का भी ध्यान रखा गया है कि स्लैब परिवर्तन से किसी नुकसान न होने पाये सरकार ने पूरी की संकल्प पत्र की घोषणा प्रदेश सरकार ने इस बार स्लैब में यूनिट वाइज सब्सिडी के एलान किया था। सबसे अधिक सब्सिीडी बीपीएल उपभोक्ताओं को 3.50 रुपये प्रति यूनिट के हिसाब से सब्सिीडी दी गई है। जिसकी वजह से आज बीपीएल उपभोक्ताओं की बिजली दल 100 यूनिट तक केवल 3 रुपये प्रति यूनिट ही रहेगी। यह वहीं दर है जिसे सरकार ने अपने चुनावी घोषणा पत्र में कहा था।